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REC Limited

अनुषंगी कम्पनियां एवं संयुक्त उद्यम

आरईसीटीपीसीएल

आरईसी ट्रांसमिशन प्रोजेक्ट्स कंपनी लिमिटेड (आरईसीटीपीसीएल) रूरल इलेक्ट्रीफिकेशन कारपोरेशन (आरईसी) लिमिटेड की एक पूर्ण स्वामित्व वाली सहायक कंपनी है। विद्युत मंत्रालय ने प्रशुल्क आधारित प्रतिस्पर्द्धी बोली मार्ग पर पूरे देश में अंतर-राज्यीय पारेषण प्रणालियों के लिए आरईसीटीपीसीएल को एक बोली प्रक्रिया समन्वयक (बीपीसी) के रूप में नियुक्त किया है। आरईसीटीपीसीएल ने वर्ष 2007 में बीपीसी के रूप में कार्य शुरू किया था और वित्तीय वर्ष 2010-11 में प्रथम पारेषण परियोजना अवार्ड की गई थी।

आज की तारीख तक, आरईसीटीपीसीएल को लगभग 37,840 करोड़ रुपए मूल्य की 23 (तेईस) भारी अंतर-राज्यीय पारेषण परियोजनाओं के लिए बीपीसी के रूप में नियुक्त किया गया है। अब तक आरईसीटीपीसीएल ने लगभग 34,400 करोड़ रुपए मूल्य की 20 (बीस) अंतर-राज्यीय पारेषण परियोजनाओं की बोली प्रक्रिया पूरी कर दी है।

 

बोली प्रक्रिया समन्वयक के रूप में कार्य करने के अलावा, आरईसीटीपीसीएल निम्नलिखित शीर्षों के तहत पारेषण एवं वितरण क्षेत्रों में परामर्शी सेवाएं भी प्रदान करता हैः

 

  • परियोजना प्रबंधन
  • संविदा प्रबंधन
  • गुणवत्ता नियंत्रण एवं निरीक्षण
  • परियोजना निष्पादन

 

प्रमुख कार्य

 

  • केईएससीओ में आईपीडीएस कार्य के लिए परियोजना प्रबंधन एजेंसी
  • पारेषण नेटवर्क के माध्यम से रिफाइनरी की ग्रिड कनेक्टिविटी स्थापित करने के लिए विशाखापट्टनम में एचपीसीएल रिफाइनरी के लिए परियोजना प्रबंधन परामर्श।
  • मिजोरम में 12वीं योजना ग्रामीण विद्युतीकरण परियोजना के लिए तीसरा पक्षकार निरीक्षण एजेंसी।
  • गोवा विद्युत विभाग (जीईडी) की गोवा में पारेषण परियोजना के लिए परियोजना प्रबंधन परामर्श।
  • जेकेपीडीडी द्वारा उदय स्कीम के तहत दायित्व को पूरा करने के लिए परियोजना प्रबंधन परामर्शी सेवाएं।
  • जेकेपीडीडी के लिए जम्मू एवं कश्मीर राज्य में पीएमडीपी स्कीम के तहत पारेषण एवं वितरण परियोजनाओं के लिए परियोजना प्रबंधन परामर्शदाता।
  • जम्मू व कश्मीर के जम्मू, कश्मीर और लद्दाख में जेकेपीडीडी की पारेषण लाइनों और सब-स्टेशनों के निर्माण सहित पारेषण प्रणाली के लिए परियोजना कार्यान्वयन एजेंसी।

 

अन्य स्कीमें/पहलें

 

तरंग (वास्तविक समय मॉनीटरिंग और वृद्धि के लिए पारेषण ऐप)

 

(वास्तविक समय मॉनीटरिंग और वृद्धि के लिए पारेषण ऐप) – तरंग मोबाइल ऐप और वेब "www.tarang.website" सुशासन और भारत सरकार की "डिजिटल इंडिया" पहल के अनुरूप रखने का परिप्रेक्ष्य है। तरंग पारेषण प्रणाली की पैन इंडिया प्रगति के संबंध में सूचनापरक माध्यम प्रदान करता है जिसे विश्लेषण प्रयोजन के लिए माह-वार, एजेंसी-वार, राज्य-वार ड्रिल किया जा सकता है। रुकी हुई/विलंब वाली परियोजनाओं के ब्यौरे विलंब के कारणों सहित अलग से लिए गए हैं ताकि सभी संबंधित दावेदार परियोजनाओं को समय से पूरा करने पर लाभ लेने के लिए समय पर सुधारात्मक निर्णय ले सकें।

 

तरंग देश में प्रशुल्क आधारित प्रतिस्पर्द्धी बोली (टीबीसीबी) तथा विनियमित प्रशुल्क तंत्र के माध्यम से अंतर्राज्यीय और अंतरा-राज्यीय पारेषण परियोजनाओं, दोनों में पारेषण प्रणाली की प्रगति की मॉनीटरिंग करता है।

 

तरंग विभिन्न पारेषण यूटिलिटियों पैन इंडिया द्वारा चलाई जा रही एनआईटी के साथ संभावित उभरती हुई अंतर्राज्यीय और अंतरा-राज्यीय परियोजनाएं भी दर्शाता है। तरंग भावी पारेषण परियोजनाओं के लिए आगे आने के लिए बोलीदाताओं को मदद करते हुए पारेषण संबंधी अधिकार प्राप्त समिति द्वारा अनुमोदित आगामी पारेषण परियोजनाओं की अग्रिम सूचना प्रदान करता है।

 

ऊर्जा मित्र (बंदी प्रबंधन प्रणाली)

 

ऊर्जा मित्र अपने किस्म का एक पहला अनुप्रयोग है जो एसएमएस/ई-मेल/पुश अधिसूचनाओं के माध्यम से पूरे भारत में शहरी/ग्रामीण विद्युत उपभोक्ताओं को विद्युत बंदी की सूचना प्रसारित करने के लिए राज्य विद्युत वितरण यूटिलिटियों हेतु एक केंद्रीय प्लेटफॉर्म (वेब पोर्टल www.urjamitra.com तथा मोबाइल ऐप) प्रदान करता है। पूरे राष्ट्र में विद्युत उपभोक्ता को संभावित अवधि तथा निर्धारित विद्युत बंदी के कारण और अनिर्धारित विद्युत बंदी की अवधि की दोष पश्चात सूचना की पूर्व सूचना होगी। यह देश के किसी भी भाग में वास्तविक समय की विद्युत बंदी देखने के लिए, विद्युत बंदी संबंधी शिकायत दर्ज करने आदि के लिए एक मंच है। दावेदार से जोड़ना, वर्नाक्युलर मोबाइल ऐप देकर सुनिश्चित करना है जिसका प्रयोग क्षेत्रीय कर्मचारियों द्वारा बंदी संबंधी शिकायतों आदि के संबंध में विद्युत बंदी सूचना दबाकर/आगे की बंदी देखकर/सुधारात्मक कार्रवाई करके प्रयोग किया जा सकता है।

 

ग्रामीण फीडर मॉनीटरिंग

 

ग्रामीण फीडर मॉनीटरिंग स्कीम के तहत ग्रामीण फीडर मीटर के आंकड़े मॉडेम के माध्यम से प्राप्त किए जाएंगे तथा सभी दावेदारों के प्रयोग के लिए उसे उपलब्ध कराने हेतु राष्ट्रीय पावर पोर्टल (एनपीपी) के साथ एकीकृत किए जाएंगे। इस स्कीम का उद्देश्य सभी बाहर जाने वाले 11 केवी ग्रामीण फीडरों और उन 66, 33/11 केवी सब-स्टेशन एवं 66/33 केवी आने वाले फीडरों, जहां से विद्युत आपूर्ति मॉनीटरिंग, अलर्ट, मीटर डाटा विश्लेषण, सूचना प्रसारण एवं ऊर्जा लेखा परीक्षा के लिए वास्तविक समय आधार पर सार्वजनिक पोर्टल पर सभी के लिए सूचना ऑनलाइन उपलब्ध कराने तथा 11 केवी ग्रामीण फीडर लगे हैं, के विभिन्न अनिवार्य मानदंड प्राप्त कर पूरे देश के लगभग 1.1 लाख ग्रामीण एवं कृषि फीडरों के लिए स्व-निर्धारित स्वतंत्र वेब आधारित ऑटोमेटिव प्रणाली विकसित करना है।

 

  • इस प्रणाली से विद्युत आपूर्ति, समुचित योजना, निर्णय सहायता की मॉनीटरिंग के लिए सहायता मिलेगी तथा विद्युत आपूर्ति स्तर पारदर्शी रूप से प्रसारित करने के अलावा व्यापार क्रियाकलापों के संबंध में सुधारात्मक कार्रवाई करने में भी सहायता मिलेगी। इससे फीडरों पर संस्थापित मीटरों से डाउनलोड किए गए विभिन्न मानदंडों को एक सामान्य डाटा बेस में समेकित करने में सुविधा मिलेगी और इस प्रकार विश्लेषण एवं कार्रवाई के लिए विभिन्न एमआईएस रिपोर्टें तैयार की जा सकेंगी।

 

 

 

पृष्ठ को अंतिम बार अद्यतन किया गया: 08/07/2025 - 05:38 PM
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